खौलते इतिहास के पन्ने गवाह हैं, स्त्रियों के नग्न बदन और राजा का अंधा होना इत्तेफ़ाक़ नहीं!! श्रुतिका साह

जंगलों में आज भी मुझे लगता नहीं है डर है शुक्र कि अब तक जानवर इंसां नहीं बने अम्बष्ठ

खुद को अच्छा बना लीजिए, दुनियां से एक बुरा इंसान कम हो जायेगा....

जो ज्ञानी होते हैं उन्हें कभी अहंकार नहीं होता रेगिस्तान कभी यह नहीं कहता कि वह ऊँट का घमण्ड तोड़ देगा।

इस समाज में जो आदमी बुरा नहीं है, वो बेवकूफ समझा जाता है...
Translate »